राजस्थान लोक सेवा आयोग (RPSC) ने RAS-2018 परीक्षा के फाइनल परिणाम में चार साल बाद बड़ा फेरबदल करते हुए एक महिला अधिकारी की रैंकिंग में संशोधन किया है।
यह अभूतपूर्व निर्णय अजमेर की उपखंड अधिकारी (SDM) पदमा चौधरी के केस में लिया गया, जिनकी मेरिट पोजीशन अब 24 से घटाकर 39-A कर दी गई है।

दरअसल, RAS-2018 का अंतिम परिणाम 13 जुलाई 2021 को जारी हुआ था। इसमें नॉन-टीएसपी क्षेत्र की संयुक्त मेरिट सूची में रोल नंबर 810581 यानी पदमा चौधरी को 24वें स्थान पर सफल घोषित किया गया था। हाल ही में आयोग द्वारा पुनर्मूल्यांकन के बाद यह पाया गया कि चौधरी को अंग्रेज़ी विषय के पेपर-4 में एक ऐसे उत्तर पर अंक दे दिए गए थे, जिसे उन्होंने लिखा ही नहीं था।
प्रश्न संख्या 34 का उत्तर खाली छोड़ने के बावजूद, पहले मूल्यांकनकर्ता ने उसमें पहले शून्य अंक दिए, फिर बाद में 7 अंक जोड़ दिए। इसी अतिरिक्त स्कोर के आधार पर उनकी रैंक 24 तक पहुंच गई। उत्तर पुस्तिका सार्वजनिक होने के बाद पूरे प्रदेश में इस पर विवाद खड़ा हो गया और मामले की जांच की मांग उठी।
राजस्थान लोक सेवा आयोग ने बुधवार देर रात इस मामले पर आधिकारिक आदेश जारी किया। सचिव रामनिवास मेहता के अनुसार, संशोधित अंकों के आधार पर अब पदमा चौधरी को मेरिट में 39-A पायदान पर रखा गया है और पुरानी रैंक 24 को निरस्त कर दिया गया है।
इस संशोधन की सूचना कार्मिक विभाग को भी भेज दी गई है। अब यह विभाग तय करेगा कि पदमा चौधरी की वर्तमान तैनाती यथावत रहेगी या उनके सेवा वर्ग में बदलाव किया जाएगा।
आयोग ने इस त्रुटिपूर्ण मूल्यांकन के लिए संबंधित कॉपी जांचने वाले को नोटिस जारी किया है।
मेरिट रैंक में बदलाव के बाद हनुमान बेनीवाल का ट्वीट…
बेनीवाल ने लिखा- 26 अप्रैल 2025 को जयपुर स्थित शहीद स्मारक पर मैंने मीडिया के समक्ष प्रमाणों के साथ बताया था कि पदमा चौधरी नामक एक अभ्यर्थी, जिसकी RAS 2018 में 24वीं रैंक थी, उसने मुख्य परीक्षा के पेपर-IV में अंग्रेज़ी के प्रश्न क्रमांक 34 का उत्तर लिखा ही नहीं था। मूल्यांकनकर्ता ने पहले उसे शून्य अंक दिए, लेकिन बाद में उसी प्रश्न पर 7 अंक जोड़ दिए गए, जिससे उसकी रैंक 24 हो गई।
आज RPSC ने अपनी गलती स्वीकार करते हुए उस अभ्यर्थी की रैंक को 24 से बदलकर 39-A कर दिया है।
यह इस बात का प्रमाण है कि RPSC आकंठ भ्रष्टाचार में डूबा हुआ है। यह तो महज एक उदाहरण है- न जाने कितने अभ्यर्थियों के साथ ऐसी गड़बड़ी की गई होगी। यह एक बड़ी जांच का विषय है।
मेरी मांग है कि प्रदेश के मुख्यमंत्री इस मामले में तुरंत संज्ञान लें और RAS 2018 की मुख्य परीक्षा की सभी उत्तर पुस्तिकाएं सार्वजनिक करवाने के निर्देश RPSC को दें। साथ ही, तत्कालीन RPSC अध्यक्ष के खिलाफ भी कार्यवाही की जाए।
राजस्थान के मेहनतकश युवाओं के हित में, RPSC को तत्काल भंग कर उसका पुनर्गठन किया जाए।
आने वाले दिनों में हम और भी ठोस प्रमाण मीडिया के समक्ष रखेंगे, जो यह साबित करेंगे कि भर्तियों में बड़े स्तर पर फर्जीवाड़ा हुआ है, लेकिन भाजपा सरकार भी कांग्रेस के नक्शेकदम पर चलकर चुप है।
सार्वजनिक किए गए दस्तावेजों की तस्वीर-



राजस्थान न्यूज: महिला को अश्लील मैसेज भेजने पर संविदा कर्मी की चप्पलों से पिटाई
राजस्थान न्यूज: बोर्ड में 61 प्रतिशत आने से निराश छात्र ने किया सुसाइड
[…] राजस्थान न्यूज: RAS-2018 में पदमा चौधरी की म… […]