राजस्थान न्यूज़: राष्ट्रीय जांच एजेंसी (NIA) ने शुक्रवार सुबह राजस्थान के तीन जिलों में लॉरेंस गैंग के खिलाफ व्यापक छापेमारी अभियान चलाया। श्रीगंगानगर, हनुमानगढ़ और दौसा में 13 से ज्यादा ठिकानों पर एक साथ दबिश दी गई। यह कार्रवाई आतंकी फंडिंग, अवैध हथियारों की तस्करी और विदेशों से जुड़े हवाला नेटवर्क की जांच के तहत की गई।
श्रीगंगानगर में हवाला नेटवर्क पर दबिश-
श्रीगंगानगर में हवाला नेटवर्क से जुड़े 13 ठिकानों पर एनआईए ने तलाशी ली। यहां से संदिग्ध लेन-देन और नेटवर्क के संपर्कों की जांच की जा रही है।
हनुमानगढ़ में सुबह-सुबह रेड-
हनुमानगढ़ के संगरिया क्षेत्र में गैंग से संबंध रखने वाले एक ठिकाने पर रेड की गई। टीम ने यहां संभावित फंडिंग और आपराधिक गतिविधियों के सबूत जुटाए।
दौसा में अवैध हथियारों पर जांच-
दौसा के सांथा इलाके में अवैध हथियारों की सप्लाई को लेकर तलाशी अभियान चलाया गया। हथियारों के सप्लाई चैन की कड़ियां खंगालने के लिए एनआईए ने स्थानीय पुलिस के साथ संयुक्त कार्रवाई की।
राजस्थान में NIA की छापेमारी, सीमावर्ती जिलों में पंजाब-हरियाणा गैंगस्टर की पनाहगाह का खुलासा-
राष्ट्रीय जांच एजेंसी (NIA) की शुरुआती जांच में सामने आया है कि पंजाब और हरियाणा के कई गैंगस्टर अब राजस्थान के बॉर्डर इलाकों में छिपकर सक्रिय हैं। श्रीगंगानगर की पाकिस्तान सीमा से नजदीकी के कारण यह इलाका आतंकी नेटवर्क के लिए संवेदनशील बना हुआ है।
लॉरेंस अपनी गैंग के लिए हथियार पाकिस्तान से मंगवाता है और ये हथियार ड्रोन के माध्यम से लिए जाते है। इन हथियारों का उपयोग वो लोगों को डराने – धमकाने में करता है।
इसी सिलसिले में NIA ने शुक्रवार सुबह सीमावर्ती जिलों में कई ठिकानों पर दबिश दी। भले ही एजेंसी की ओर से अभी आधिकारिक बयान नहीं आया, लेकिन स्थानीय पुलिस ने कार्रवाई की पुष्टि कर दी है। अचानक हुई इस छापेमारी से पूरे इलाके में खलबली मच गई है और सुरक्षा एजेंसियां सतर्क हो गई हैं।
20 दिन पहले दौसा में भी हुई थी NIA की कार्रवाई-
करीब 20 दिन पहले NIA ने दौसा के मेहंदीपुर बालाजी कस्बे की कई धर्मशालाओं में तलाशी अभियान चलाया था। यह कार्रवाई कुख्यात गैंग से जुड़े एक बदमाश की गिरफ्तारी के बाद हुई थी, जिसे हाल ही में जबरन वसूली, धमकी और हथियारों की तस्करी के मामले में डिटेन किया गया था।
पूछताछ में खुलासा हुआ कि गिरफ्तारी से बचने के लिए वह बदमाश अपने साथियों के साथ मथुरा-वृंदावन और मेहंदीपुर बालाजी सहित कई धार्मिक स्थलों पर छिपकर रह रहा था। इस जानकारी के आधार पर एजेंसी ने दौसा में सर्च ऑपरेशन चलाया था।
लॉरेंस बिश्नोई और उसके गिरोह के अपराध सिर्फ आम आपराधिक वारदात नहीं हैं, बल्कि इनका नेटवर्क हथियार तस्करी, जबरन वसूली और सीमा पार आतंकी संगठनों तक फैला हुआ माना जाता है।
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